लखनऊ/11
अगस्त 2016 .........
लखनऊ
की चर्चित समाजसेविका और आरटीआई कार्यकत्री उर्वशी शर्मा की मानहानि करने के लिए
जालसाजी करने जैसा जघन्य अपराध करने के मामले में अब लखनऊ के एक और अखबार की
संपादिका कानून के घेरे में फँस गयी है. लखनऊ और सोनभद्र जिलों से प्रकाशित
साप्ताहिक ‘कूटचक्र’ के संपादक महेंद्र अग्रवाल पर आईपीसी की धारा 469 के अंतर्गत
दर्ज एफ.आई.आर. में ही लखनऊ से प्रकाशित साप्ताहिक और दैनिक समाचारपत्र निष्पक्ष
दिव्य सन्देश की संपादिका रेखा गौतम के भी सह-अभियुक्त होने की बात अब एक पुलिस
अभिलेख से उजागर हुई है.
समाजसेविका
उर्वशी शर्मा ने बताया कि महेंद्र अग्रवाल ने उनकी प्रतिष्ठा को चोट पंहुचाने के दुरुद्देश्य
से विगत वर्ष जालसाजी करने का अपराध किया था. बकौल उर्वशी इस अपराध के खिलाफ उनके
द्वारा दी गयी तहरीर पर अभियुक्त महेंद्र अग्रवाल के खिलाफ आईपीसी की धारा 469 में
एफ.आई.आई. दर्ज कर जांच हुई और अभियुक्त महेंद्र अग्रवाल को पुलिस जांच में दोषी पाए
जाने पर आरोप पत्र न्यायालय प्रेषित किया गया था.
बकौल
उर्वशी बीते साल ही लखनऊ के संजयगाँधीपुरम इंदिरानगर से प्रकाशित साप्ताहिक समाचारपत्र
निष्पक्ष दिव्य सन्देश ने उनके सम्बन्ध में एक मानहानिकारक खबर का प्रकाशन किया था.
उर्वशी ने इस समाचार पत्र की संपादिका रेखा गौतम को विधिक नोटिस भेजकर प्रकाशित
किये इस मानहानिकारक समाचार की बातों के सम्बन्ध में प्रमाणों की मांग की थी और इस नोटिस का कोई भी
जबाब न आने पर पुलिस में तहरीर देकर रेखा गौतम के खिलाफ एफ.आई.आर. की मांग की थी.
बकौल
उर्वशी जब उन्होंने पुलिस विभाग में एक आरटीआई दायर कर रेखा गौतम द्वारा किये गए
अपराध के लिए रेखा के खिलाफ की गयी पुलिस कार्यवाही की सूचना माँगी तो लखनऊ के
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने उन्हें बीते 01 अगस्त को प्रेषित किये गए एक पत्र के माध्यम
से लिखित रूप से बताया है कि महेंद्र अग्रवाल के साथ-साथ रेखा गौतम के खिलाफ भी
आईपीसी की धारा 469 में अभियोग पंजीकृत होकर रेखा के खिलाफ भी चार्जशीट न्यायालय को
भेजी जा चुकी है.
उर्वशी
ने बताया कि वे इस मामले की अदालत में प्रभावी पैरवी करेंगी और महेंद्र अग्रवाल और रेखा गौतम को जल्द से जल्द जेल
के सींखचों के पीछे पंहुचाने का प्रयास करेंगी.
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